नई दिल्ली डेस्क/ मध्य प्रदेश में व्यापमं मामले में सुप्रीम कोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाया है। सुप्रीम कोर्ट ने ऐसे 634 छात्रों के दाखिले को रद्द कर दिया है जिन्होंने 2008-2012 की अवधि में 5 साल के एमबीबीएस कोर्स में नामांकन कराया था। इन मेडिकल छात्रों का दाखिला मध्य प्रदेश व्यावसायिक परीक्षा मंडल यानी व्यापमं के जरिए हुए था।
व्यापमं घोटाले में भी ये बात सामने आई थी कि छात्र बिना परीक्षा दिए मेडिकल-इंजीनियरिंग कॉलेजों की प्रवेश परीक्षा पास कर जाते थे। इस केस में दो जजों के फैसले में मतभेद की बात भी सामने आई थी। इससे पहले आए फैसले में 2 जजों में सजा को लेकर मतभेद था। इसके साथ ही, सुप्रीम कोर्ट में चीफ जस्टिस जगदीश सिंह केहर की अध्यक्षता वाली पीठ ने छात्रों की तरफ से दायर की गई सभी याचिकाओं को खारिज कर दिया।
चीफ जस्टिस जेएस खेहर की अध्यक्षता वाली पीठ ने राहत देने से इनकार करते हुए सामूहिक नकल के दोषी छात्रों के दाखिले रद्द कर दिए। इस मामले में मध्य प्रदेश हाईकोर्ट ने भी पहले ऐसा ही आदेश दिया था।