लखनऊ डेस्क/ नागरिकता कानून के विरोध में दिल्ली की जामिया और अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी में उग्र प्रदर्शन के बाद सोमवार को लखनऊ के नदवा कॉलेज में भी छात्रों ने विरोध जताया। पत्थरबाजी के बाद पुलिस ने काॅलेज के गेटों को बाहर से बंद कर दिया। इस दौरान जामिया के छात्रों के समर्थन में नारेबाजी हुई।
जामिया यूनिवर्सिटी में रविवार रात प्रदर्शनकारियों ने 4 बसों समेत 8 वाहन फूंक दिए थे। पुलिस के बल प्रयोग में करीब 100 से अधिक छात्र जख्मी हुए थे। 52 छात्रों को हिरासत में लिया गया था। इसके खिलाफ जामिया और जेएनयू के छात्रों ने पुलिस हेडक्वार्टर का घेराव किया। सोमवार तड़के पुलिस ने सभी छात्रों को छोड़ दिया। जामिया हिंसा को लेकर दो एफआईआर दर्ज हुई हैं।
एएमयू और जामिया प्रशासन ने 5 जनवरी तक छुट्टी घोषित कर दी है। एएमयू के रजिस्ट्रार ने बताया कि छात्रों से रविवार देर रात हॉस्टल खाली कराए गए। उन्हें बस और ट्रेन से घर भेजने के इंतजाम किए गए। जामिया के भी कई छात्र सोमवार को अपने घर रवाना हो गए।
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की। वहीं, दिल्ली में जामिया में हिंसा के बाद उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने सोमवार को ओखला, जामिया, न्यू फ्रेंड्स कॉलोनी और मदनपुर खादर इलाके के सभी स्कूल बंद रखने की घोषणा की। हिंसा के बाद दिल्ली में 14 मेट्रो स्टेशन बंद करने पड़े, जो सोमवार सुबह फिर शुरू कर दिए गए।