कोलकाता डेस्क/ राज्य विधानसभा चुनाव में प्रचंड जीत हासिल करने के बाद तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) सुप्रीमो ममता बनर्जी ने लगातार तीसरी बार पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री के तौर पर बुधवार को शपथ ली। उन्होंने भरोसा दिलाया कि चुनाव परिणाम घोषित होने के बाद से राज्य में हो रही राजनीतिक हिंसा के लिए जिम्मेदार लोगों को बख्शेंगी नहीं। राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने कोविड-19 के बढ़ते प्रकोप के बीच राजभवन में आयोजित साधारण समारोह में उन्हें पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई. बनर्जी ने बांग्ला भाषा में शपथ ली।
शपथ ग्रहण समारोह तब भी हुआ जब राज्य में मुख्य विपक्षी पार्टी के तौर पर उभरी भाजपा ने हैस्टिंग्स दफ्तर में रविवार रात के बाद से कथित तौर पर टीएमसी द्वारा उसके कार्यकर्ताओं पर किए गए हमलों के खिलाफ प्रदर्शन किया। पार्टी ने दावा किया है कि उसके कई कार्यकर्ताओं की हत्या हुई है और पार्टी कार्यालयों को क्षतिग्रस्त किया गया है। प्रदर्शन में पार्टी अध्यक्ष जे पी नड्डा और प्रदेश इकाई के अध्यक्ष दिलीप घोष भी उपस्थित थे।
टीएमसी सूत्रों ने बताया कि बुधवार को अकेले बनर्जी ने शपथ ली और उनके मंत्रिमंडल को नौ मई को यानि बंगाली सांस्कृतिक प्रतीक नोबेल पुरस्कार विजेता रबिंद्रनाथ टैगोर की जयंती के दिन अन्य मंत्रियों के शपथ के साथ विस्तार दिया जाएगा। बनर्जी ने शपथ लेने के बाद कहा, ‘हमारी पहली प्राथमिकता कोविड स्थिति को नियंत्रित करने की है। ’
बनर्जी ने कहा कि वह राजभवन से निकलने के तुरंत बाद राज्य सचिवालय नाबन्ना में वैश्विक महामारी की स्थिति पर एक बैठक करेंगी। हिंसा की घटनाएं जिनमें भाजपा और टीएमसी के कई कार्यकर्ताओं की जान जाने की खबर है, उनका जिक्र करते हुए बनर्जी ने कहा, ‘मैं आज से कानून-व्यवस्था को देखूंगी और सख्ती से इससे निपटूंगी। यह मेरी दूसरी प्राथमिकता है। ’ उन्होंने शपथग्रहण के बाद पत्रकारों से कहा, ‘हम किसी को (हिंसा करने वालों को) बख्शने वाले नहीं हैं और कानून-व्यवस्था को बहाल करने के लिए सबकुछ करेंगे। ’ उन्होंने सभी राजनीतिक दलों से शांति बनाए रखने में मदद की अपील की।