लखनऊ डेस्क/ उत्तर प्रदेश सरकार अब सख्त कानून के साथ सार्वजनिक रूप से जुए पर प्रतिबंध लगाने की तैयारी कर रही है। सूत्रों के अनुसार, राज्य विधि आयोग ने एक नए कानून के लिए मसौदा प्रस्तुत किया है जो सार्वजनिक जुए को प्रतिबंधित करता है। इसमें ऑनलाइन जुआ और सट्टेबाजी के विभिन्न रूप शामिल हैं, उन्हें गैर जमानती अपराधों की श्रेणी में रखने का प्रावधान किया गया है।
उत्तर प्रदेश पब्लिक गेमिंग (रोकथाम) विधेयक शीर्षक से मसौदा रिपोर्ट राज्य विधि आयोग की अध्यक्षता में तैयार की गई है, जिसकी अध्यक्षता न्यायमूर्ति ए.एन. मित्तल ने की। रिपोर्ट को इस सप्ताह की शुरूआत में मुख्यमंत्री को सौंपा गया था। बिल में अधिकतम तीन साल की सजा का प्रावधान है। इस नए कानून का मसौदा ऑनलाइन जुए के तेजी से बढ़ते स्वरूप को ध्यान में रखते हुए बनाया गया है।
सार्वजनिक जुआ अधिनियम, वर्तमान में, केवल एक साल के कारावास और 1,000 रुपये के जुर्माने का प्रावधान करता है। अधिकारियों ने कहा कि ये दंडात्मक प्रावधान ऑनलाइन जुए को रोकने के लिए पर्याप्त नहीं हैं। राज्य में जुआघरों और सट्टेबाजों का संचालन करने वाले कार्टेल की श्रृंखला को तोड़ने के लिए महत्वपूर्ण सिफारिशें की गई हैं।