नई दिल्ली डेस्क/ वोटरों तक सरकारों की उपलब्धियों की जानकारी पहुंचाने और हर विधान सभा में जाकर मतदाताओं के साथ सीधा संवाद स्थापित करने की रणनीति के तहत भाजपा ने उत्तर प्रदेश में एक साथ चार रथ यात्रा निकालने की योजना बनाई है।
मिली जानकारी के मुताबिक भाजपा उत्तर प्रदेश में चार अलग-अलग दिशाओं से रथयात्रा निकालने जा रही है। भाजपा के एक वरिष्ठ नेता के मुताबिक दिसंबर के पहले या दूसरे सप्ताह में उत्तर प्रदेश के चार अलग-अलग कोनों से यह रथ यात्रा निकाली जाएगी। प्रदेश की विभिन्न विधान सभाओं में लोगों के साथ सीधा संपर्क स्थापित करते हुए ये चारों रथ यात्राएं अपने-अपने निर्धारित रूट पर लगभग दो सप्ताह तक लोगों से संपर्क स्थापित करेगी। इन रथ यात्राओं के जरिए प्रदेश की सभी 403 विधान सभाओं और राजनीतिक दृष्टि से महत्वपूर्ण इलाकों के लोगों के साथ संपर्क स्थापित करने की रणनीति बनाई गई है। इसी आधार पर इन चारों रथ यात्राओं का रूट तैयार किया जा रहा है।
इस रथ यात्रा के दौरान केंद्र सरकार के मंत्री और पार्टी के दिग्गज नेता एवं प्रदेश सरकार के मंत्री भी अलग-अलग इलाकों में कार्यक्रमों में शामिल होंगे। सांसद और विधायकों के साथ-साथ जिले के कद्दावर नेताओं को भी कार्यक्रम में मौजूद रहने के लिए कहा जाएगा।
भाजपा नेता ने बताया कि इन रथ यात्राओं के जरिए केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार की साढ़े सात की उपलब्धियों और गरीब कल्याण योजनाओं के बारे में जनता को बताया जाएगा और इसके साथ ही प्रदेश की योगी सरकार की उपलब्धियों की जानकारी भी लोगों को दी जाएगी।
भाजपा सूत्रों के मुताबिक इन चारों रथ यात्राओं का समापन प्रदेश की राजधानी लखनऊ में होगा और समापन वाले दिन , पार्टी लखनऊ में एक बड़ी रैली का आयोजन करेगी जिसे केंद्र के एक बड़े दिग्गज नेता संबोंधित करेंगे।
भाजपा और रथ यात्रा का पुराना इतिहास रहा है । अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के उद्देश्य के साथ 1990 में लाल कृष्ण आडवाणी द्वारा निकाली गई रथ यात्रा के बाद ही भाजपा का राजनीतिक ग्राफ बढ़ना शुरू हुआ था। 1992 में मुरली मनोहर जोशी ने कश्मीर के लाल चौक पर तिरंगा फहराने के लिए एकता यात्रा निकाल कर भाजपा की राष्ट्रवादी छवि को पुख्ता बनाने में महत्वपूर्ण योगदान दिया था। गौरतलब हो कि इन दोनो ही यात्राओं में वर्तमान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। इसलिए भाजपा आलाकमान भी उत्तर प्रदेश जैसे महत्वपूर्ण चुनावी राज्य की रणनीति बनाते समय रथ यात्राओं को खासा महत्व देती है।