अयोध्या डेस्क/ अगले साल लोकसभा चुनाव है, इसलिए अयोध्या में राम मंदिर निर्माण का मुद्दा एक बार फिर तूल पकड़ने लगा है। पूर्व बीजेपी सांसद व राम जन्मभूमि न्यास के वरिष्ठ सदस्य डॉ. रामविलास वेदांती ने सोमवार को कहा कि अब बिना अदालती फैसले के ही राम मंदिर का निर्माण शुरू किया जाएगा।एक कार्यक्रम में यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ मंच साझा करते हुए राम विलास वेदांती कहा कि 2019 से पहले बिना कोर्ट के आदेश के राम मंदिर का निर्माण शुरू होगा, ठीक वैसे ही जैसे विवादित ढांचा ढहाया गया था।’ कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हालांकि कहा कि सरकार संवैधानिक मर्यादाओं से बंधी है और मंदिर निर्माण के लिये संत समाज को अभी थोड़ा और इंतजार करना होगा।
वेंदाती ने कहा, ‘राम मंदिर जो है हमारे देश के हरेक हिंदू का विषय है। जहां राम लला विराजमान हैं वहां मंदिर बनेगा और मंदिर बनाने के लिए किसी कोर्ट की प्रतिक्षा नहीं करेंगे। अगर कोर्ट का आदेश आ जाता है तो ठीक है नहीं आता है तब भी मंदिर बनेगा। ये निश्चित है कि 2019 से पहले मंदिर बनेगा। उन्होंने कहा कि अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण अचानक शुरू होगा। मंदिर का निर्माण पूरा होने में समय लगेगा, लेकिन एक बात निश्चित है कि यह 2019 के लोकसभा चुनाव से पहले बनना शुरू हो जाएगा।
वहीं, यूपी के सीएम ने योगी ने संत सम्मेलन में कहा, ‘हम दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र में रहते हैं। भारत की इस व्यवस्था के संचालन में न्यायपालिका, कार्यपालिका और विधायिका की अपनी भूमिका है। हमें उन मर्यादाओं को भी ध्यान में रखना होगा।’ उन्होंने कहा, ‘मर्यादा पुरुषोत्तम राम इस ब्रह्मांड के स्वामी हैं। जब उनकी कृपा होगी तो अयोध्या में मंदिर बनकर ही रहेगा। इसमें कोई संदेह नहीं है तो फिर संतों को संदेह कहां से हो जाता है। आपने इतना धैर्य रखा, मुझे लगता है कि कुछ दिन और धैर्य रखना होगा। आशा पर दुनिया टिकी हुई है।’ मुख्यमंत्री ने कहा, ‘मेरी अपील है कि भगवान राम मर्यादा के प्रतीक है और संतगण वर्तमान समाज में उनके प्रतिनिधि हैं। ऐसे में हमें सभी समस्याओं का समाधान उसी मर्यादा में रहकर करना पड़ेगा।’