कानपुर डेस्क/ कानपुर पुलिस ने शादी के बहाने जबरन धर्म परिवर्तन के कई मामलों में आरोपों की जांच के लिए आठ सदस्यीय विशेष जांच टीम (एसआईटी) का गठन किया है। इसी जिले से पिछले एक महीने में लव जिहाद के लगभग 11 मामले सामने आने के बाद यह निर्णय लिया गया और हिंदू संगठनों ने कानपुर के आईजी मोहित अग्रवाल से मुलाकात कर मामले की जांच की मांग की।
कानपुर में एक महिला शालिनी यादव के जुलाई में एक मुस्लिम व्यक्ति फैजल से शादी करने के बाद यह मुद्दा गरमाया। कथित तौर पर लड़की के परिवार ने लव जिहाद का आरोप लगाया, हालांकि दंपति ने जबरन धर्म परिवर्तन के आरोपों से इनकार करते हुए दिल्ली की एक अदालत का दरवाजा खटखटाया। शालिनी ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो भी अपलोड किया, जिसमें दावा किया कि उसने शादी कर ली है और अपनी मर्जी से धर्म परिवर्तन किया।
अधिकारी ने कहा कि कानपुर (दक्षिण) के पुलिस अधीक्षक दीपर भुकर की अगुवाई में एसआईटी को कथित घटनाओं के पीछे किसी निश्चित पैटर्न या कार्य प्रणाली को देखने के लिए कहा गया है। विशेष जांच टीम (एसआईटी) ऐसे मामलों में इस्लामी संगठनों की कथित भूमिका की भी जांच करेगी। दिलचस्प बात यह है कि कथित लव जिहाद के ज्यादातर मामले जूही इलाके से सामने आ रहे हैं। एक अधिकारी ने कहा कि अगर किसी भी इस्लामिक संगठन की कानपुर में लव जिहाद रैकेट की फंडिंग में भूमिका है, तो एसआईटी जांच करेगी।
अधिकारी ने दावा किया, इस बात की काफी हद तक संभावना है कि कुछ इस्लामिक संगठन इस तरह के राष्ट्र विरोधी कृत्यों में शामिल मुट्ठी भर संगठनों को वित्तीय सहायता प्रदान कर रहे हों। पुलिस यह पता लगाने के लिए साजिश के साजिश के पहलू पर गौर कर रही है कि क्या इसमें शामिल युवकों को विदेश से पैसे भेजे जा रहे हैं।