अक्षय तृतीया यानी वह त्योहार जो हमें हमारे कर्मों का अक्षय फल प्रदान करता है. इस दिन दान करने से सबसे श्रेष्ठ माना गया है. मान्यता है कि इस दिन हमें सत्कर्म करने चाहिए जो कि हमें अक्षय पुण्य प्रदान करते हैं और ऐसे पुण्य से हमारा जीवन सुख और शांति से व्यतीत होता है. शास्त्रों में अक्षय तृतीया पर खरीदारी करने का जितना महत्व माना गया है और उतना ही महत्व इस दिन दान करने का भी बताया गया है. वहीं इस दिन जरूरतमंदों को कुछ विशेष चीजों का दान करने से व्यक्ति को अक्षय पुण्य की प्राप्ति होती है.
कब हैं अक्षय तृतीया
वैदिक पंचांग के अनुसार, वैशाख माह के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि 29 अप्रैल को शाम 05 बजकर 31 मिनट से शुरू होगी और अगले दिन यानी 30 अप्रैल को दोपहर 02 बजकर 12 मिनट पर तिथि खत्म होगी. उदया तिथि के अनुसार, अक्षय तृतीया का पर्व 30 अप्रैल को मनाया जाएगा.
इन चीजों का करे दान
अक्षय तृतीया के दिन जल से भरे पात्र का दान करना करना शुभ माना जाता है. इस दिन आप मटके या कलश का दान कर सकते हैं, लेकिन ध्यान रखें कि इसको खाली दान नहीं करना चाहिए. इसमें जल या चीनी डालकर दान करें.
अक्षय तृतीया के दिन सफेद चीजों का दान करना बहुत ही शुभ माना जाता है. इसमें आप दूध, दही, चीनी, खीर, शंख और सफेद कपड़े आदि का दान कर सकते हैं. इससे व्यक्ति को शुभ फलों की प्राप्ति है और कुंडली में चंद्रमा की स्थित भी मजबूत होती है.
अक्षय तृतीया के दिन गरीबों व जरूरतमंदों को क्षमता के अनुसार अनाज, कपड़े तथा धन आदी का दान कर करना अच्छा होता है. इससे व्यक्ति को शुभ फलों की प्राप्ति होती है.
पितरों का आशीर्वाद पाने के लिए अक्षय तृतीया के दिन पूर्वजों के नाम पर उनकी भोजन तथा वस्तुओं आदि का दान कर सकते हैं. ऐसा करने से व्यक्ति को पितरों का कृपा प्राप्त होती है. साथ ही इस दिन ब्राह्मणों का भोजन करवाना चाहिए.