वाराणसी डेस्क/ बनारस हिंदू विश्वविद्यालय (बीएचयू) में शनिवार शाम को शुरु हुआ छात्र-छात्राओं का धरना प्रदर्शन रविवार देर रात ख़त्म हो गया है। छात्र-छात्राएं यौन उत्पीड़न के एक कथित मामले में एक प्रोफ़ेसर के ख़िलाफ़ कार्रवाई न होने के विरोध में विश्वविद्यालय के बाहर धरना दे रहे थे।
उनका दावा था कि विश्वविद्यालय ने प्रोफेसर के दोषी पाए जाने पर भी उनके ख़िलाफ़ उचित कार्रवाई नहीं की है। धरना-प्रदर्शन के बाद अब बीएचयू ने अभियुक्त प्रोफेसर को इस मामले पर पुनर्विचार होने तक छुट्टी पर भेज दिया है।
विश्वविद्यालय ने एक प्रेस रिलीज़ जारी कर कहा है, ”जंतुविज्ञान विभाग के प्रोफेसर शैल कुमार चौबे के ख़िलाफ़ की गई शिकायत पर शिकायत समिति ने जांच की थी। समिति की रिपोर्ट पर एग्जिक्यूटिव काउंसिल ने विचार करते हुए उन्हें सज़ा सुनाई थी।
हालांकि, मामले पर पुनर्विचार करते हुए, एग्जिक्यूटिव काउंसिल के फैसले की समीक्षा के लिए उसके पास दुबारा भेजने का निर्णय लिया गया है। एग्जिक्यूटिव काउंसिल के इस मामले पर पुनर्विचार करने तक प्रोफेसर शैल कुमार चौबे को छुट्टी पर जाने के निर्देश दिए जाते हैं।”
विश्वविद्यालय प्रशासन के इस फैसले के बाद छात्र-छात्राओं ने धरना ख़त्म कर दिया है|