लखनऊ डेस्क/ उत्तर प्रदेश सरकार ने मुख्यमंत्री सूचना हेल्पलाइन नंबर ‘1076’ के माध्यम से दर्ज कराई गईं शिकायतों के समाधान की एक खराब तस्वीर पेश की है। इसका खुलासा राज्य सूचना प्रौद्योगिकी विभाग ने किया। विभाग की एक रिपोर्ट से पता चला है कि मुख्यमंत्री हेल्पलाइन के जरिए दर्ज की गईं शिकायतों का केवल 25 प्रतिशत ही समाधान किया गया है।
जनता और मुख्यमंत्री कार्यालय के बीच सीधा संपर्क स्थापित करने के लिए, योगी आदित्यनाथ की सरकार ने पांच जुलाई को बहुत ही धूमधाम के साथ हेल्पलाइन सेवा शुरू की थी, लेकिन चार अगस्त तक हेल्पलाइन के जरिए दर्ज कराई गईं शिकायतों में केवल एक-चौथाई शिकायतें ही हल हो पाई हैं।
हेल्पलाइन से जुड़े एक अधिकारी ने बताया, “समाधान की गईं अधिकतम शिकायतें गन्ना विकास, सामाजिक कल्याण और कृषि विभागों से संबंधित हैं। जिन विभागों में समाधान न होने वाले सबसे अधिक शिकायतें हैं, वे राजस्व, खाद्य और नागरिक आपूर्ति, बुनियादी शिक्षा और पीडब्ल्यूडी हैं। हमें घर, राजस्व, खाद्य और नागरिक आपूर्ति और पंचायती राज विभागों के लिए अधिकतम शिकायतें मिली हैं।”
सूचना प्रौद्योगिकी विभाग द्वारा जारी एक रपट के अनुसार, पांच जुलाई से हेल्पलाइन पर 55 विभागों के खिलाफ 2.51 लाख शिकायतें प्राप्त हुई हैं और इनमें से केवल 64,800 शिकायतों का निवारण किया गया है। लगभग 63,448 शिकायतकर्ताओं ने इस उपाय को ‘संतोषजनक’ माना है।
यह रिपोर्ट मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के रूस दौरे से वापस लौने के बाद उनके समक्ष पेश की जाएगी और शिकायतों के समाधान मे कोताही बरतने वाले अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की जा सकती है।