नई दिल्ली
महान क्रिकेटर महेंद्र सिंह धोनी के नाम एक और उपलब्धि दर्ज हुई है। आईसीसी हॉल ऑफ फेम में शामिल होने की उपलब्धि। भारत के 11वां क्रिकेटर बनने का सौभाग्य जिन्हें यह सम्मान मिल चुका है। एमएसडी के इस मील के पत्थर को छूने पर पूर्व क्रिकेटर रवि शास्त्री ने खास अंदाज में उनकी तारीफ की है। उन्होंने विकेट के पीछे माही की बिजली सी फुर्ती की तुलना पॉकेटमार से की है। शास्त्री ने कहा कि उनके हाथ तो पॉकेटमार के हाथ से भी तेज चलते हैं। बड़े मैच में बतौर बल्लेबाज आप नहीं चाहेंगे कि विकेट के पीछे धोनी हो। बटुआ गायब हो जाएगा।
महेंद्र सिंह धोनी का विकेट के पीछे होना ही बल्लेबाजों के लिए खतरे की घंटी होती है। कहते हैं न कि सावधानी हटी, दुर्घटना घटी। जरा सी चूक हुई और बल्लेबाज को पवैलियन का रास्ता नापना पड़ जाता था। पूरी दुनिया उनकी कप्तानी, बल्लेबाजी और उससे भी कहीं ज्यादा विकेटकीपिंग की कायल रही है। रवि शास्त्री ने विकेट कीपिंग के दौरान उनके हाथों की तेजी की तुलना पॉकेटमार से की है।
आईसीसी समारोह के दौरान शास्त्री ने कहा, ‘उनके हाथ पॉकेटरमार से भी तेज हैं। अगर आप कभी भारत में हों और किसी बड़े मैच के लिए जा रहे हों, खासकर अहमदाबाद में तो आप कभी यह नहीं चाहते कि एमएस आपके पीछे हों; पीछे देखिए। बटुआ गायब हो जाएगा।’
शास्त्री ने कहा कि धोनी हमेशा अपने भावनाओं पर नियंत्रण रखते हैं। वह शतक बनाएं या बिना खाता खोले आउट हों, एक जैसे रहते हैं। उन्होंने कहा, ‘जब कभी वह शून्य पर आउट होते हैं तब भी वैसे ही रहते हैं जब वह विश्व कप जीतते हैं। शतक बनाने पर भी वैसे ही रहते हैं, दोहरा शतक पर भी वैसा ही रहते हैं।’
महेंद्र सिंह धोनी अपनी कप्तानी में भारत के सिर पर टी-20 और वनडे वर्ल्ड कप का ताज सजा चुके हैं। अपने नेतृत्व में चैंपियंस ट्रॉफी का सिरमौर बना चुके हैं। अब वह आईसीसी हॉल ऑफ फेम का हिस्सा हैं।