काठमांडू डेस्क/ नेपाली व भारतीय अधिकारियों ने मंगलवार को यहां भारतीय जलमार्गो के जरिए काठमांडू को पारगमन सुविधा देने की अनुमति के लिए एक पारगमन समझौते में संशोधन के लिए चर्चा शुरू की। एक समाचार एजेंसी के मुताबिक, अंतर-सरकारी समिति (आईजीसी) के तहत एक उप-समिति स्तर की बैठक काठमांडू में शुरू हुई। वाणिज्य सचिव स्तर की वार्ता गुरुवार को शुरू होगी।
नेपाली प्रधानमंत्री के.पी.शर्मा ओली के भारत के छह से आठ अप्रैल के दौरे के दौरान दोनों देशों ने अंतर्देशीय जलमार्गो के माध्यम से नए संपर्क पर एक संयुक्त बयान जारी किया। इससे नेपाल के लिए पहली बार जलमार्गो के माध्यम से समुद्र तक पहुंचने का रास्ता खोल दिया। अगर नेपाल जलमार्गो के जरिए समुद्र तक सीधी पहुंच स्थापित करता है तो जानकारों का कहना है कि इससे जमीनी क्षेत्र से जुड़े हिमालयी राष्ट्र के लिए व्यापार की लागत कम हो जाएगी।
वाणिज्य व आपूर्ति उद्योग मंत्रालय के संयुक्त सचिव रबिशंकर सैंजू ने कहा, दोनों पक्ष पारगमन संधि में इस मुद्दे को शामिल करने के तकनीकी बिंदुओं पर चर्चा करने जा रहे हैं। उन्होंने कहा, ऐसा पहली बार है कि दोनों पक्ष जलमार्गो को पारगमन सुविधा के रूप में जोड़ने पर चर्चा कर रहे हैं। हम मूल रूप से समझौते में शामिल होने वाली सामग्री पर चर्चा व उसे अंतिम रूप देने की कोशिश करेंगे। जल एवं ऊर्जा आयोग के संयुक्त सचिव माधव बेलबेस के अनुसार, नेपाल व भारत को इस प्रक्रिया के संचालन के लिए एक संयुक्त अध्ययन दल बनाना पड़ सकता है।